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बजट से पहले बड़े फैसलों के मूड में सरकार, ये 5 कदम डालेंगे आप पर असर

बजट से पहले बड़े फैसलों के मूड में सरकार, ये 5 कदम डालेंगे आप पर असर

केंद्र सरकार ने बजट से पहले...Editor

केंद्र सरकार ने बजट से पहले हुई कैबिनेट बैठक में बुधवार को 5 अहम फैसले लिए. इसमें उसने जहां सिंगल ब्रांड रिटेल ट्रेडिंग में ऑटोमैटिक रूट के तहत 100 फीसदी एफडीआई का फैसला लिया है. इसके साथ ही केंद्र सरकार ने ऑटोमैटिक रूट के तहत कंस्ट्रक्शन सेक्टर में भी 100 फीसदी एफडीआई का ऐलान किया है. बजट से पहले सरकार बड़े फैसले लेने की मूड में दिख रही है.


यहां भी एफडीआई को मंजूरी

एयर इंडिया के विनिवेश में विदेशी कंपनियों को 49 फीसदी हिस्सेदारी लेने की छूट भी दे दी है. वहीं, कई मेडिकल डिवाइस में भी 100 फीसदी एफडीआई को मंजूरी दी है. केंद्र सरकार ने विदेशी संस्थागत निवेशकों और विदेशी पोर्टफोलियो इन्वेस्टर को प्राइमरी मार्केट के तहत पावर एक्सचेंज में निवेश की मंजूरी दे दी है. इन फैसलों से भारत में न सिर्फ विदेशी निवेश बढ़ेगा, बल्क‍ि यह आय और रोजगार बढ़ाने में भी सक्षम होगा.

एयर इंडिया में एफडीआई

भारत सरकार ने एयर इंडिया में 49 फीसदी एफडीआई को मंजूरी दी है. इसका मतलब यह है कि विदेश एयरलाइंस अब एयर इंडिया में निवेश कर सकेंगी. इससे सरकार को कर्ज में डूबी एयर इंडिया को बेचने में आसानी होगी.

आप पर होगा ये असर

एयर इंडिया में विदेशी एयरलाइंस के निवेश से इसकी हालत सुधरेगी. इसके साथ ही कर्ज में डूबी एयर इंडिया को कर्ज से निजात मिल जाएगी. इससे एयरलाइन की सेवा में काफी ज्यादा सुधार होगा. इसके साथ ही यात्र‍ियों के लिए बेहतर सुविधाएं मिल सकती हैं.

कंस्ट्रक्शन में एफडीआई

भारत सरकार ने कंस्ट्रक्शन सेक्टर में 100 फीसदी प्रत्यक्ष विदेशी न‍िवेश को मंजूरी दी है. यह निवेश रियल इस्टेट ब्रॉक‍िंग बिजनेस में दिया गया है. इससे देश में निवेश बढ़ेगा. इसके साथ ही असंगठित रियल इस्टेट सेक्टर को संगठ‍ित करने में मदद म‍िलेगी.

बढ़ेंगे रोजगार के मौके

रियल इस्टेट ब्रॉक‍िंग सर्विस में एफडीआई को मंजूरी म‍िलने का ये फायदा होगा कि विदेशी कंपनियां भारत में कंसल्टंसी फर्म आसानी से शुरू कर सकेंगे. इससे ब्रॉक‍िंग सर्विस में स्पर्धा बढ़ सकती है. इसके साथ ही इस फील्ड में रोजगार के मौके भी बढ़ेंगे. विदेशी कंपनियों के आने से ब्रॉक‍िंग सर्विस के फील्ड में रोजगार के नये मौके पैदा होंगे.

रिटेल सेक्टर में एफडीआई

केंद्र सरकार ने सिंगल ब्रांड रिटेल ट्रेडिंग में भी ऑटोमैटिक रूट के जरिये 100 फीसदी एफडीआई को मंजूरी दे दी है. यह छूट मिलने से अंतरराष्ट्रीय रिटेल चेन भारत में अपने वेंचर खोल सकेंगी. इससे रिटेल सेक्टर में स्पर्धा बढ़ने की उम्मीद है.

आएंगी नई टेक्नोलॉजी

अंतरराष्ट्रीय रिटेल चेन न सिर्फ देश में निवेश को बढ़ावा देने में मदद करेंगी, बल्क‍ि ये नई टेक्नोलॉजीज को भी भारत में लाएंगी. इस फैसले का सबसे ज्यादा फायदा स्वीडिशन फर्नीचर मेकर Ikea जैसी कंपनियों को मिलेगा. ये कंपनियां भारत में बड़े स्तर पर अपने स्टोर्स खोलना चाहती हैं. नये स्टोर खुलने से रोजगार के मौके भी देश में पैदा होंगे. इससे आम आदमी की अंतरराष्ट्रीय ब्रांड तक पहुंच भी बढ़ेगी.

मेडिकल डिवाइस

मोदी सरकार ने कई मेडिकल डिवाइस में भी ऑटोमैटिक रूट के जरिये 100 फीसदी एफडीआई की इजाजत दी है. यह छूट इंस्ट्रूमेंट, इम्प्लांट, सॉफ्टवेयर टूल समेत अन्य मेडिकल डिवाइस बना सकेंगे, जो मानव और जानवरों के लिए यूज किए जा सकेंगे. इससे उम्मीद जताई जा रही है कि बेहतर मेडिकल डिवाइस और टेक्नोलॉजी देश में पहुंचेगी.

पावर एक्सचेंज

पावर एक्सचेंज पर बिजली की खरीद-बिक्री की ऑनलाइन ट्रेडिंग होती है. इसमें सरकार ने ऑटोमैटिक रूट से 49 फीसदी एफडीआई को मंजूरी दी है. इससे पहले FII सेकंडरी मार्केट में ही निवेश कर सकते थे. अब यह शर्त खत्म कर दी गई और वे प्राइमरी मार्केट में भी निवेश कर सकेंगे. सरकार के इस फैसले से देश में निवेश बढ़ेगा और पावर एक्सचेंज को सतह पर आने में मदद मिलेगी.


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