मासिक शिवरात्रि 2025, 27 मार्च को मिलेगा भगवान शिव का आशीर्वाद, जानें शुभ मुहूर्त, पूजा विधि और महत्व

हिंदू धर्म में मासिक शिवरात्रि का विशेष स्थान है। हर महीने कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को मनाया जाने वाला यह पर्व भगवान शिव को समर्पित होता है। इस बार मासिक शिवरात्रि का शुभ संयोग 27 मार्च 2025, गुरुवार को बन रहा है। इस दिन शिव भक्त उपवास रखते हैं और रात्रि के समय भगवान शिव की विधिपूर्वक पूजा-अर्चना करते हैं। धार्मिक मान्यता के अनुसार, मासिक शिवरात्रि का व्रत रखने और पूरी श्रद्धा से भोलेनाथ की आराधना करने से मनचाहा वरदान प्राप्त होता है और जीवन के कष्टों का नाश होता है।
मासिक शिवरात्रि 2025 की तिथि और शुभ मुहूर्त
वैदिक पंचांग के अनुसार, कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि 27 मार्च को पड़ेगी। इस दिन भगवान शिव की पूजा और व्रत का विशेष महत्व होता है।
मासिक शिवरात्रि तिथि प्रारंभ: 27 मार्च 2025 को दोपहर 12:42 बजे
मासिक शिवरात्रि तिथि समाप्त: 28 मार्च 2025 को प्रातः 11:15 बजे
पूजा का श्रेष्ठ मुहूर्त: रात्रि में 12:00 बजे से 12:45 बजे तक
शास्त्रों के अनुसार, इस दिन रात्रि के चार प्रहर में शिव पूजन करने से विशेष पुण्य की प्राप्ति होती है। भक्त रात्रि के हर प्रहर में भगवान शिव का अभिषेक कर सकते हैं और ओम नमः शिवाय का जाप कर सकते हैं।
मासिक शिवरात्रि का धार्मिक महत्व
मासिक शिवरात्रि का अध्यात्मिक और ज्योतिषीय दोनों दृष्टि से विशेष महत्व है। इस दिन व्रत और पूजन करने से व्यक्ति को पिछले जन्मों के पापों से मुक्ति मिलती है और आत्मिक शुद्धि होती है। मान्यता है कि इस दिन भगवान शिव और माता पार्वती का विवाह संपन्न हुआ था, इसलिए यह दिन वैवाहिक सुख की प्राप्ति और वैवाहिक जीवन में सामंजस्य बनाए रखने के लिए अत्यंत लाभकारी होता है।
इसके प्रमुख लाभ इस प्रकार हैं:
1. मनोकामनाओं की पूर्ति: इस दिन विधिपूर्वक व्रत और पूजन करने से भगवान शिव की कृपा प्राप्त होती है और इच्छित फल मिलता है।
2. कष्टों से मुक्ति: जीवन में आने वाली समस्याओं, कर्ज, रोग, शत्रुओं और मानसिक तनाव से छुटकारा मिलता है।
3. वैवाहिक जीवन में सुख: जिन लोगों का वैवाहिक जीवन ठीक नहीं चल रहा है या शादी में बाधा आ रही है, उनके लिए यह व्रत बेहद लाभकारी माना जाता है।
4. संतान प्राप्ति: संतान सुख की प्राप्ति के लिए भी इस व्रत का महत्व बताया गया है।
5. मोक्ष की प्राप्ति: जो भक्त सच्चे मन से इस दिन शिव आराधना करता है, उसे मृत्यु के बाद मोक्ष की प्राप्ति होती है।
मासिक शिवरात्रि की पूजा विधि
मासिक शिवरात्रि के दिन सुबह जल्दी उठकर स्नान करें और साफ-सुथरे वस्त्र धारण करें। इसके बाद पूरे विधि-विधान से भगवान शिव की पूजा करें।
✅ पूजा विधि इस प्रकार है:
* मंदिर जाएं या घर पर शिवलिंग की स्थापना करें और भगवान शिव का गंगा जल से अभिषेक करें।
* शिवलिंग पर कच्चा दूध, शहद, दही, घी और गंगाजल चढ़ाकर पंचामृत अभिषेक करें।
* बेलपत्र, धतूरा, भांग और सफेद फूल चढ़ाकर भगवान शिव को प्रसन्न करें।
* शिव चालीसा, रुद्राष्टक और महामृत्युंजय मंत्र का जाप करें।
* रात्रि के चार प्रहर में भगवान शिव की विशेष आरती करें और "ॐ नमः शिवाय" मंत्र का जप करें।
* रात्रि जागरण करें और शिव कथाएं सुनें।
* व्रत रखने वाले व्यक्ति फलाहार करें और अगले दिन पारण करें।
मासिक शिवरात्रि पर क्या करें और क्या न करें?
✅ क्या करें?
. इस दिन उज्जैन के महाकालेश्वर, काशी विश्वनाथ, केदारनाथ और सोमनाथ ज्योतिर्लिंग के दर्शन और पूजा करना अत्यंत शुभ माना जाता है।
. गौ सेवा और गरीबों को भोजन कराना अत्यंत पुण्यदायी होता है।
. इस दिन रुद्राक्ष धारण करना और भगवान शिव का जलाभिषेक करना विशेष फलदायी माना जाता है।
. ॐ नमः शिवाय का जाप कम से कम 108 बार करें और रात्रि जागरण करें।
❌ क्या न करें?
. इस दिन किसी भी प्रकार के मांसाहार, शराब या नशे का सेवन न करें।
. क्रोध, झूठ, छल-कपट और बुरे विचारों से बचें।
. तामसिक भोजन न करें और व्रत का पालन पूरी श्रद्धा के साथ करें।
. किसी को अपशब्द न कहें और अनैतिक कार्यों से दूर रहें।
मासिक शिवरात्रि 2025 का यह पावन पर्व 27 मार्च को मनाया जाएगा। इस दिन भगवान शिव का व्रत और पूजन करने से सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं, वैवाहिक सुख की प्राप्ति होती है और जीवन की सभी समस्याओं का समाधान मिलता है। यदि आप भगवान शिव की कृपा प्राप्त करना चाहते हैं, तो इस दिन व्रत रखें, पूजा-अर्चना करें और शिव मंत्रों का जाप करें। भोलेनाथ की असीम कृपा से आपके जीवन में सुख, शांति और समृद्धि का आगमन होगा।
यह लेख/समाचार लोक मान्यताओं और जन स्तुतियों पर आधारित है। पब्लिक खबर इसमें दी गई जानकारी और तथ्यों की सत्यता या संपूर्णता की पुष्टि की नहीं करता है।