जनकपुर में राम-सीता विवाह उत्सव, बारातियों के स्वागत के लिए भव्य तैयारियां
- In मुख्य समाचार 4 Dec 2024 1:56 PM IST
जनकपुर में इस वर्ष का राम-सीता विवाह उत्सव बड़े उत्साह और भव्यता के साथ मनाया जा रहा है। अयोध्या से आने वाली बारात के स्वागत के लिए जनकपुर वासियों ने विशेष तैयारियां की हैं। इस पवित्र आयोजन में नेपाल सरकार का भी सक्रिय सहयोग मिल रहा है।
12 बीघा मैदान में विशेष व्यवस्था
मां जानकी के महल से लगभग 700 मीटर की दूरी पर स्थित 12 बीघा मैदान को बारातियों के भोजन और आराम के लिए तैयार किया गया है। यह स्थान अयोध्या से आने वाले हजारों श्रद्धालुओं और गणमान्य व्यक्तियों के ठहरने और भोजन के लिए सजाया गया है। मंदिर प्रबंधन समिति ने नेपाल सरकार के सहयोग से इस स्थान पर भव्य आयोजन की योजना बनाई है।
नेपाल सरकार और मंदिर प्रबंधन का योगदान
मंदिर प्रबंधन समिति ने बताया कि राम-सीता विवाह महोत्सव के सफल आयोजन के लिए नेपाल सरकार सभी आवश्यक संसाधन और सुविधाएं प्रदान कर रही है। यहां बारातियों के लिए पर्याप्त भोजन, पानी, और अन्य आवश्यक सुविधाओं का ध्यान रखा गया है, ताकि किसी भी प्रकार की असुविधा न हो।
राम-सीता विवाह उत्सव का महत्व
यह उत्सव न केवल धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है, बल्कि भारत और नेपाल के सांस्कृतिक संबंधों का प्रतीक भी है। जनकपुर, जो माता सीता का मायका है, इस आयोजन के दौरान अयोध्या से आई बारात का भव्य स्वागत करता है। यह आयोजन भारतीय और नेपाली भक्तों को एकता के सूत्र में बांधता है।
भक्तों की भागीदारी और आयोजन की भव्यता
हर साल लाखों श्रद्धालु इस उत्सव में शामिल होने के लिए जनकपुर आते हैं। आयोजन स्थल को भव्य रूप से सजाया गया है, और पारंपरिक गीत-संगीत से पूरा जनकपुर गूंज रहा है। बारातियों के स्वागत के लिए विशेष सांस्कृतिक कार्यक्रम भी आयोजित किए जाएंगे।
जनकपुर की भूमिका और जन सहभागिता
जनकपुर के निवासियों ने इस अवसर पर अपनी पूरी भागीदारी दिखाई है। वे हर संभव प्रयास कर रहे हैं कि अयोध्या से आने वाले बाराती खुद को विशेष महसूस करें। उनके स्वागत में शहर को सुसज्जित किया गया है और जनकपुर की परंपराओं को उजागर किया जा रहा है।
राम-सीता विवाह उत्सव भारतीय और नेपाली संस्कृति का संगम है। अयोध्या से आने वाले बारातियों के स्वागत में जनकपुर के नागरिक और नेपाल सरकार मिलकर इस आयोजन को यादगार बनाने में जुटे हुए हैं। यह महोत्सव न केवल श्रद्धालुओं के लिए धार्मिक अनुभव है, बल्कि दोनों देशों के बीच मित्रता और सांस्कृतिक संबंधों को मजबूत करने का अवसर भी है।
यह लेख/समाचार लोक मान्यताओं और जन स्तुतियों पर आधारित है। पब्लिक खबर इसमें दी गई जानकारी और तथ्यों की सत्यता या संपूर्णता की पुष्टि की नहीं करता है।