प्रेमानंद महाराज जी के स्वास्थ्य में गिरावट, आश्रम ने दर्शन व्यवस्था में किया बड़ा बदलाव
प्रसिद्ध संत प्रेमानंद महाराज जी के अनुयायियों के लिए एक अहम सूचना सामने आई है। जानकारी के अनुसार, महाराज जी गंभीर स्वास्थ्य समस्याओं से जूझ रहे हैं। उनकी दोनों किडनियां खराब हो चुकी हैं, जिसके चलते उन्हें प्रतिदिन डायलिसिस की आवश्यकता होती है। इस चिकित्सा प्रक्रिया के कारण उनका स्वास्थ्य स्थिर नहीं रह पाता और वे शारीरिक रूप से कमजोर महसूस करते हैं।
स्वास्थ्य स्थिति का ताजा अपडेट:महाराज जी का स्वास्थ्य लंबे समय से चिंताजनक बना हुआ है। नियमित डायलिसिस के बावजूद उनकी हालत में कोई विशेष सुधार नहीं देखा जा रहा है। चिकित्सकों की सख्त निगरानी और देखरेख में उनका इलाज जारी है। डायलिसिस के कारण उन्हें अत्यधिक थकान और कमजोरी का अनुभव होता है, जिससे उनकी दिनचर्या प्रभावित हो रही है।
आश्रम प्रशासन का निर्णय:प्रेमानंद महाराज जी के बिगड़ते स्वास्थ्य और आश्रम में बढ़ती भीड़ को देखते हुए प्रशासन ने एक महत्वपूर्ण निर्णय लिया है। अब महाराज जी के रात्रि 2 बजे से शुरू होने वाले दर्शन कार्यक्रम को अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया गया है। यह निर्णय विशेष रूप से उनके स्वास्थ्य की रक्षा और भीड़ के प्रबंधन के उद्देश्य से लिया गया है।
आधिकारिक बयान:आश्रम प्रशासन द्वारा जारी आधिकारिक सूचना में कहा गया है:
"महाराज श्री के स्वास्थ्य में गिरावट और अत्यधिक भीड़ के कारण अब रात्रि 2 बजे के दर्शन अस्थायी रूप से स्थगित किए जा रहे हैं। कृपया सभी श्रद्धालु इस निर्णय का सम्मान करें और महाराज जी के शीघ्र स्वास्थ्य लाभ के लिए प्रार्थना करें।"
भक्तों से विशेष अनुरोध:आश्रम ने भक्तों से अनुरोध किया है कि वे प्रेमानंद महाराज जी के स्वास्थ्य को लेकर चिंतित न हों और घर पर रहकर ही उनकी अच्छी सेहत के लिए प्रार्थना करें। साथ ही, किसी भी नई जानकारी के लिए आश्रम की आधिकारिक वेबसाइट और सोशल मीडिया पेज पर नजर बनाए रखें।
प्रेमानंद महाराज जी के स्वास्थ्य से जुड़ी यह खबर उनके लाखों अनुयायियों के लिए चिंता का विषय है। आश्रम प्रशासन द्वारा लिया गया यह निर्णय उनके स्वास्थ्य और सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए आवश्यक है। भक्तों का प्रेम, आस्था और प्रार्थनाएं ही महाराज जी के लिए सबसे बड़ा संबल हैं।
यह लेख/समाचार लोक मान्यताओं और जन स्तुति पर आधारित है | पब्लिक खबर इसमें दी गयी जानकारी और तथ्यों की सत्यता और संपूर्णता की पुष्टि नहीं करता है |