सूर्य के रोहिणी नक्षत्र में प्रवेश से राशियों पर पड़ेगा असर, जानिए किन्हें रहना होगा सतर्क और क्या करें उपाय

इस वर्ष 25 मई 2025 को सूर्य ग्रह रोहिणी नक्षत्र में प्रवेश कर रहा है, जो कि चंद्रमा का अत्यंत प्रिय नक्षत्र माना जाता है। सूर्य और चंद्रमा के आपसी संबंधों के कारण यह गोचर खगोलीय दृष्टि से खास तो है ही, साथ ही यह मानव जीवन के विभिन्न पहलुओं पर भी असर डालने वाला साबित हो सकता है।
सूर्य, जो आत्मबल, आत्मविश्वास, सत्ता और नेतृत्व का प्रतीक है, जब रोहिणी जैसे संवेदनशील और भावनात्मक नक्षत्र में प्रवेश करता है, तो इसका प्रभाव केवल व्यक्तित्व पर ही नहीं, बल्कि व्यक्ति के करियर, पारिवारिक जीवन, मानसिक संतुलन और स्वास्थ्य पर भी पड़ता है। इस समय कुछ राशियों को जहां नई ऊर्जा और प्रगति मिल सकती है, वहीं कुछ को तनाव और असमंजस का सामना करना पड़ सकता है।
इन राशियों पर पड़ेगा विशेष प्रभाव
1. कर्क राशि:
सूर्य का चंद्रमा के नक्षत्र में गोचर होना कर्क राशि वालों के लिए भावनात्मक उतार-चढ़ाव लेकर आएगा। पारिवारिक संबंधों में तनाव या ग़लतफहमी उत्पन्न हो सकती है। घरेलू मामलों में संतुलन बनाए रखना चुनौतीपूर्ण हो सकता है।
उपाय: हनुमान चालीसा का नियमित पाठ करें और पीले वस्त्र में गुड़ बांधकर दान करें।
2. सिंह राशि:
सूर्य आपकी ही राशि का स्वामी है, लेकिन रोहिणी नक्षत्र में आने से आपकी नेतृत्व क्षमता थोड़ी प्रभावित हो सकती है। ऑफिस में निर्णय लेते समय सतर्क रहें। वरिष्ठों से विवाद की संभावना है।
उपाय: सूर्य को जल अर्पित करें और ‘ॐ घृणि सूर्याय नमः’ मंत्र का जाप करें।
3. मकर राशि:
मकर राशि के जातकों को करियर में नई जिम्मेदारियां मिल सकती हैं, लेकिन मानसिक तनाव भी बढ़ेगा। कार्यस्थल की राजनीति से बचें और स्वास्थ्य को लेकर सावधानी बरतें।
उपाय: बहते जल में तांबे का सिक्का प्रवाहित करें और शाम को तुलसी को दीपक लगाएं।
सामान्य उपाय जो सभी राशियों के लिए लाभदायक हो सकते हैं:
* प्रतिदिन सुबह सूर्य को जल चढ़ाकर प्रार्थना करें।
* आदित्य हृदय स्तोत्र या सूर्य अष्टक का पाठ करें।
* तांबा, गेहूं, लाल वस्त्र, या गुड़ का दान करना शुभ रहेगा।
* आत्मविकास के लिए ध्यान और योग अपनाएं।
सूर्य का यह गोचर क्यों है खास?
रोहिणी नक्षत्र की विशेषता यह है कि यह सौंदर्य, कला, सौम्यता और भावुकता का प्रतीक है। सूर्य का इस नक्षत्र में प्रवेश व्यक्ति के भीतर गहराई से जुड़ी भावनाओं को उभार सकता है। इससे कुछ लोगों को अंतर्मन की खोज में सहायता मिल सकती है, जबकि कुछ को आत्म-संदेह की स्थिति का सामना करना पड़ सकता है। इस समय भावनाओं में बहने के बजाय विवेक से काम लेना आवश्यक होगा।
25 मई को होने वाला सूर्य का रोहिणी नक्षत्र में गोचर उन सभी लोगों के लिए एक महत्वपूर्ण ज्योतिषीय घटना है जो अपने जीवन में चल रहे उतार-चढ़ाव को समझना और सुधारना चाहते हैं। ग्रहों का यह परिवर्तन चेतावनी और अवसर दोनों साथ लेकर आता है। यदि समय रहते उचित उपाय किए जाएं और विवेकपूर्ण निर्णय लिए जाएं, तो इसका प्रभाव सकारात्मक दिशा में मोड़ा जा सकता है।
यह लेख/समाचार लोक मान्यताओं और जन स्तुतियों पर आधारित है। पब्लिक खबर इसमें दी गई जानकारी और तथ्यों की सत्यता या संपूर्णता की पुष्टि की नहीं करता है।