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शूटिंग से ही विवादों में रही केदारनाथ, जानिए फिल्म से जुड़ी खास बातें

शूटिंग से ही विवादों में रही केदारनाथ, जानिए फिल्म से जुड़ी खास बातें

केदारनाथ त्रासदी 2013 पर बनी...Editor

केदारनाथ त्रासदी 2013 पर बनी 'केदारनाथ' फिल्म शूटिंग के समय से ही विवादों में रही। रुद्रप्रयाग जनपद की केदारघाटी में दो माह तक केदारनाथ धाम के साथ त्रियुगीनारायण में इसकी शूटिंग की गई थी। वहीं, जिले के तीर्थ पुरोहित समेत विभिन्न संगठनों ने केदारनाथ फिल्म में आपत्तिजनक दृश्यों को लेकर कड़ा विरोध जताया है।

वर्ष 2017 में सितंबर और अक्टूबर माह में केदारनाथ फिल्म की शूटिंग गौरीकुंड, त्रियुगीनारायण, सोनप्रयाग, रामबाडा, चोपता और केदारनाथ धाम में की गई थी। रामबाड़ा के दृश्य त्रियुगीनारायण में दर्शाए गए।

शूटिंग के दौरान फिल्म की कहानी को लेकर स्थानीय लोगों में आक्रोश पैदा हो गया था। इसी दौरान 'दैनिक जागरण' में भी फिल्म की कहानी को प्रकाशित किया गया था। केदारनाथ के तीर्थ पुरोहितों समेत विभिन्न संगठनों ने इसका विरोध भी किया था, बावजूद इसके फिल्म की शूटिंग जारी रही। फिल्म के टीजर जारी होने के बाद विरोध के स्वर और बढ़ गए हैं।

तीर्थपुरोहित श्रीनिवास पोस्ती ने कहा कि यदि इस फिल्म में अश्लीलता के दृश्य फिल्माए गए हैं, तो इस फिल्म पर रोक लगनी चाहिए। इससे केदारनाथ धाम की आस्था पर ठेस पहुंच सकती है।

भाजपा के अजेंद्र अजय ने कहा कि 16/17 जून 2013 की केदारनाथ धाम में आई आपदा की पृष्ठभूमि पर केदारनाथ नाम से फिल्म के टीजर व पोस्टर से जो तथ्य सामने आए थे, वे हिंदू मान्यताओं के खिलाफ हैं। उन्होंने कहा कि फिल्म पर प्रतिबंध लगना चाहिए।

सामाजिक कार्यकर्ता गंभीर सिंह बिष्ट ने कहा कि केदारनाथ धाम देश-विदेश में रहने वाले करोड़ों हिंदुओं की आस्था का केंद्र है। जिस तरह से फिल्म में दृश्य दिखाए गए हैं और संवादों को रखा गया है, उसके आधार पर फिल्म को रिलीज नहीं करना चाहिए। केदारनाथ सभा के अध्यक्ष विनोद शुक्ला, पूर्व व्यापार संघ अध्यक्ष महेश बगवाड़ी और लक्ष्मीनारायण जगवाण आदि ने भी फिल्म पर रोक लगाने की मांग की है।

मंसूर और मुक्कू की प्रेम कहानी है केदारनाथ

करोड़ों श्रद्धालुओं की आस्था का केंद्र केदारनाथ में 2013 में आई आपदा पर फिल्माई गई फिल्म 'केदारनाथ' शुक्रवार को देशभर में रिलीज हो गई। इस फिल्म की अधिकांश शूटिंग रुद्रप्रयाग और चमोली जिले में हुई। इस फिल्म से अभिनेता सैफ अली खान की बेटी सारा अली खान बॉलीवुड में डेब्यू कर रही हैं।

लंबे समय से विवादों में रही फिल्म केदारनाथ प्रेम कहानी में आधारित है। फिल्म मंसूर और मुक्कू की प्रेम कहानी है। फिल्म में अभिनेता सुशांत राजपूत ने मंसूर और सारा अली खान ने मुक्कू की भूमिका निभाई है। फिल्म की कहानी गौरकुंड से केदारनाथ मंदिर तक की उसी 14 किलोमीटर तक की है।

यह एक नौजवान की कहानी है, जो गौरीकुंड-केदारनाथ मार्ग पर डंडी मजदूर का काम करता है। एक दिन वह डंडी में एक यात्री को लेकर केदारनाथ जाता है। इस दौरान आपदा आ जाती है, जिसमें पूरा रास्ता टूट जाता है। बाबा के दर्शन को आई एक लड़की भी इस सैलाब की चपेट में आ जाती है। पहाड़ का यह लड़का जान हथेली पर रखकर उस लड़की की जान बचाता है और दोनों में प्यार हो जाता है।

शूटिंग के दौरान खुद चाय बनाती थीं सारा

फिल्म की शूटिंग के दौरान देहरादून से क्रू लेकर गए धीरज छाबड़ा ने बताया कि केदारनाथ में शूटिंग के दौरान रुद्रप्रयाग का मौसम काफी ठंडा था। इस दौरान अक्सर सारा अली खान खुद चाय बनाती थीं और पिलाती थीं। उन्हें देखकर कभी लगा ही नहीं कि वे सैफ अली खान की बेटी हैं।

उन्होंने बताया कि केदारनाथ शूटिंग के लिए जाते समय रोजाना डायरेक्टर अभिषेक कपूर भी फाटा से केदारनाथ तक पैदल ही ट्रेक करते थे। उन्होंने बताया कि देहरादून और हरिद्वार के करीब 200 कलाकारों ने फिल्म में हिस्सा लिया है।

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