उत्तराखंड में अगले 24 घंटे भारी बारिश की चेतावनी
- In उत्तराखंड 19 July 2018 12:01 PM IST
उत्तराखंड में बुधवार को मौसम सामान्य रहा, लेकिन यात्रा मार्गों पर भूस्खलन और बोल्डर गिरने का खतरा बना रहा। यमुनोत्री हाईवे 22 घंटे बाद दोपहर खुल गया है। बदरीनाथ, केदारनाथ और गंगोत्री हाईवे खुलने और बंद होने के क्रम दोपहर तक चला। मौसम विभाग ने अगले 36 घंटों के अंतराल में राज्य के कुछ हिस्सों में भारी बारिश की चेतावनी जारी की है। गंगा, मंदाकिनी और अलकनंदा समेत अधिकतर नदियों का उफान कुछ कम हुआ है। उधर, चारों धामों में यात्रियों के पहुंचने का सिलसिला जारी रहा।
पर्वतीय जिलों में मंगलवार रात छिटपुट बारिश के दौर चलते रहे, सुबह मौसम खुल गया। बदरीनाथ हाईवे पर भूस्खलन की वजह से जाखड़ी बनाला जल विद्युत परियोजना की नहर क्षतिग्रस्त हो गई। इससे यहां उत्पादन ठप हो गया। डाबरकोट में भूस्खलन की वजह से बंद यमुनोत्री हाईवे दोपहर बाद खुल गया। हालांकि यहां कुछ इलाकों में पहाड़ी से पत्थर गिरने का क्रम पूरे दिन चलता रहा।
गंगोत्री हाईवे सुबह हेलगूगाड़ के पास पहाड़ी से मलबा आने की वजह से बाधित हो गया था, दोपहर करीब बारह बजे इस पर यातायात सुचारु हो गया। केदारनाथ हाईवे फाटा के पास मंगलवार शाम से अवरुद्ध है्र, यहां सड़क पर मलबा आने से वाहनों की आवाजाही प्रभावित रही। हालांकि, पैदल यात्रा जारी है।
कुमाऊं मंडल के पिथौरागढ़ में थल -मुनस्यारी मार्ग और जौलजीवी -मुनस्यारी मार्ग मलबा आने से कुछ घंटे बंद रहा। जिले के 14 संपर्क मार्ग अभी बंद है और इन मार्गों से मलबा हटाने का काम जारी है। बागेश्वर जनपद में पिछले चार दिन में भूस्खलन के चलते दस सड़कें क्षतिग्रस्त हुई हैं।
विषम हालात में भी यात्रियों का उत्साह
मौसम के चलते विकट हालात के बावजूद चारों धामों मेंं यात्रियों के पहुंचने का क्रम बुधवार को भी जारी रहा। सबसे ज्यादा खतरा यमुनोत्री मार्ग पर बना हुआ है, यहां डाबरकोट में करीब चार सौ मीटर हिस्से में पहाड़ी से रुक-रुक कर पत्थर गिर रहे हैं। बावजूद इसके यमुनोत्री धाम में 300 से अधिक यात्री दर्शनों के लिए पहुंचे। बता दें कि यहां एक रोज पहले बादल फटने से व्यापक नुकसान हुआ था। लेकिन, इस आपदा के बाद भी श्रद्धालुओं का उत्साह कम नहीं पड़ा।
घटने लगा है गंगा का जल स्तर
हरिद्वार जिले में गंगा नदी के जलस्तर घटने बढ़ने का क्रम जारी है। मंगलवार की शाम सात बजे जहां गंगा का जलस्तर चेतावनी स्तर 293 मीटर पर जा पहुंचा था। इसके बाद प्रशासन ने तटीय क्षेत्रों में अलर्ट जारी कर दिया था। वहीं रात में आठ बजे यह कम होकर 292.50 पर आने से प्रशासन ने थोड़ी राहत की सांस ली थी। बुधवार की सुबह गंगा के जलस्तर में कमी जारी रहा। सुबह छह बजे गंगा का जलस्तर 292.30 मीटर रेकार्ड किया गया। जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी मीरा कैंतुरा ने बताया हालांकि जलस्तर घटाव पर है। फिर भी सतर्कता से निगरानी की जा रही है।
गुरुवार को प्रदेश में भारी बारिश की चेतावनी
मौसम विभाग ने गुरुवार को प्रदेश के कई क्षेत्रों में भारी बारिश की चेतावनी जारी की है। साथ ही अगले 24 घंटों में देहरादून एवं उसके आसपास के क्षेत्रों में एक-दो दौर तेज बारिश होने के आसार हैं।